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Red light area

हाईवे पर,,

रूद्र इस वक्त पागलों की तरह अहाना को ढूंढ रहा था और अभी थोड़ी देर पहले अहाना के पेरेंट्स का भी फोन आया था जिसे रूद्र ने अहाना को 11:00 बजे तक पहुंचाने का वादा कर दिया था। रूद्र को खुद समझ नहीं आ रहा था कि अहाना गई तो गई कहां। वह इधर-उधर अहाना को सड़कों पर ढूंढता फिर रहा था, पागलों की तरह सड़क पर भाग रहा था। लेकिन तभी उसकी नज़र साइड पर सड़क पर पड़े हुए अहाना के स्टॉल पर गई जो नीचे पड़ा हुआ था। उस स्टॉल को देखकर रूद्र का दिल धक् से रह गया क्योंकि वह समझ गया था कि अहाना के साथ इस वक्त कुछ न कुछ गलत ज़रूर हुआ है।

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वहीं दूसरी तरफ,,

स्टार बिल्ड होटल,,,

यह एक छोटा सा होटल था जिसे देखकर ही पता चल रहा था कि यहां पर आने वाले लोग सही नहीं थे। वहां पास में एक रेड जोन एरिया था, यानी यह पूरा एरिया ही रेड जोन था क्योंकि यहां पर आसपास इतनी ज्यादा लड़कियां थीं जो अपने जिस्म की नुमाइश कर रही थीं। वहीं वे लड़के अब अहाना को गोद में लिए हुए अंदर की तरफ आ रहे थे और उनकी नजर सामने खड़ी लड़कियों पर भी थी, पर उससे कहीं ज्यादा नजर उनकी अहाना पर थी।

क्योंकि अहाना सच में बहुत खूबसूरत थी और वहीं जो वहां पर लड़कियां बाज़ार में थीं, वे बिल्कुल भी खूबसूरत नहीं थीं। उन्होंने हद से ज्यादा मेकअप किया हुआ था जिस वजह से वे और भी बदसूरत लग रही थीं। वहीं अहाना के चेहरे पर इस वक्त कुछ भी नहीं था, सिवाय होठों पर लिप ग्लॉस के। अहाना ने कोई मेकअप नहीं किया हुआ था।

अहाना इस वक्त पूरी तरह से बेहोश थी। उसे कोई होश नहीं था कि वह कहां पर पहुंच चुकी है।

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वहीं पीछे से एक आदमी जो साइकिल पर कब से उनका पीछा कर रहा था। वह आदमी हाईवे से ही उनका पीछा कर रहा था क्योंकि उसे उन आदमियों में कुछ अजीब लगा, जिस वजह से वह उनके पीछे लग गया था। उस आदमी को अहाना को देखकर ऐसा लग रहा था कि जैसे वह किसी भले घर की लड़की हो। इसीलिए वह आदमी उन लड़कों के पीछे-पीछे यहां तक पहुंच गया था।

पर जैसे ही उसने उस इलाके को देखा, उसके होश उड़ गए। वह सारा माजरा समझ गया कि वे लड़के अहाना को यहां बेचने के लिए और जिस्मफरोशी के लिए लेकर आए थे। यह देखते ही उस आदमी के हाथ-पैर कांपने लगे। वह मन ही मन बोला –

"हाय राम! इस लड़की का क्या बनेगा… मुझे लगता है मुझे पुलिस को बताना चाहिए।"

इतना कहते हुए अब उस आदमी ने अपनी साइकिल घुमाई और बाहर की तरफ आने लगा।

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देखते ही देखते वह आदमी वहां से निकल गया। वहीं वे लड़के अब अहाना को अंदर की तरफ लेकर आए और सीधे स्टार होटल के अंदर चले गए। वह होटल किसी छोटे से घर की तरह लग रहा था। सामने की ओर ही मीराबाई एक बेंच पर बैठी हुई थी और उसके सामने कुछ लड़कियां नाच रही थीं।

आसपास कहीं अधेड़ उम्र के आदमी, कहीं मध्यम उम्र के और कुछ छोटी उम्र के लड़के भी थे, जो उन लड़कियों को देखकर अपनी गंदी निगाहों से देख रहे थे। वहीं वह लड़कियां भी उनको रिझाने में लगी हुई थीं। सभी लड़कियों ने छोटे-छोटे कपड़े पहने हुए थे। उनके ब्लाउज इतने छोटे थे कि उनके बूब्स बाहर की तरफ नज़र आ रहे थे।

वहीं जैसे-जैसे वे लड़कियां नाच रही थीं और उनके सीने ऊपर-नीचे हिल रहे थे, उन्हें देखकर वहां मौजूद आदमी और भी ज्यादा पागल हो रहे थे। कुछ लोग तो अपने हाथ को अपनी डिक पर फेर रहे थे कि कब उनकी बारी आएगी और कब वे किसी लड़की को लेकर कमरे में जाएंगे।

मीराबाई बस आराम से बैठी सब देख रही थी कि कब कोई उसके पास पैसे रखे और किसी भी लड़की को लेकर कमरे में चला जाए। पर तभी मीराबाई की नजर सामने गई, जहां वे लड़के अहाना को लेकर आ रहे थे। अहाना को देखकर ही मीराबाई के चेहरे पर तिरछी मुस्कुराहट आ गई।

मीराबाई अब उन लड़कों की तरफ देखकर बोली –

"क्यों रे चंदू, क्या कमाल का माल लेकर आया है! कहां से उठा लाया इसे?"

वहीं चंदू, जो उनका लीडर था, हंसते हुए बोला –

"माल तो तुझे दे दूंगा, पर पहले मुझे इसे करना है… उसके बाद दूंगा। फिर चाहे तू जितना दम दे। माल देख, कितना चिकना है।"

उसकी बात पर दोबारा से मीराबाई की नजर अहाना पर गई और अगले ही पल उसने खुशी से तिरछी मुस्कुराहट दी। वह बोली –

"वैसे बात तो तूने अच्छी की बेटा। अब बता, किस कमरे में ले जाएगा इसे… पहले ही बता दे।"

तभी चंदू बोला –

"दो करोड़ ज्यादा नहीं मांग रहा हूं, फिर भी लड़की की शक्ल देख ले। तेरे धंधे में चार चांद लग जाएंगे।"

उसकी बात पर मीराबाई के चेहरे पर तिरछी मुस्कान और गहरी हो गई। वह बोली –

"चल, जा… खुश हो जा तू भी। और तेरे ये लंगूर भी साथ में मजे लेंगे क्या?"

उसकी बात पर चंदू ने बेफिक्री से अपनी आंखें मटका दीं और मीराबाई उनकी तरफ देखकर बोली –

"अब और रुको मत रे मुस्टंडो! जाओ जाकर किसी और लड़की के साथ मजे लो। यह लड़की अभी यहीं रहेगी।"

उसकी बात सुनकर बाकी लड़के जल्दी से एक-एक लड़की लेकर दूसरे कमरों में घुस गए।

वहीं चंदू जल्दी से अहाना को अंदर की तरफ लेकर आया और दरवाजा बंद कर लिया। अगले ही पल उसने अहाना को बेड पर लिटा दिया और हवस भरी निगाहों से उसे देखने लगा।

जबकि अहाना अभी भी पूरी तरह से बेहोश थी। चंदू अब उसकी तरफ देखते हुए सामने सोफे पर जाकर बैठा और अपने होठों पर हाथ फेरते हुए बोला –

"आज इसको चने का मजा बहुत आने वाला है।"

इतना कहते हुए वह सोफे पर बैठा और सामने रखी हुई शराब पीने लगा। शराब पीते हुए चंदू पूरी तरह से अहाना को अपनी आंखों से नोच रहा था।

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वहीं दूसरी तरफ,,,

वह आदमी पूरी तरह से हड़बड़ाया हुआ था, जिसने अभी-अभी अहाना को देखा था। वह उसी रास्ते से वापस जा रहा था। चलते-चलते वह साइकिल लेकर आगे बढ़ रहा था, पर तभी उसके सामने एक गाड़ी आकर रुकी। अगले ही पल उसमें से एक शख्स निकला और उसने अपने हाथ में फोन पकड़ा और उस आदमी को दिखाते हुए पूछा –

रूद्र (गुस्से में): "भाई, तुमने इस लड़की को देखा है?"

वह शख्स और कोई नहीं बल्कि रूद्र था, जो अहाना की फोटो दिखा रहा था।

जैसे ही उस आदमी ने अहाना की फोटो देखी, उसकी आंखें हैरत से फैल गईं। रूद्र भी उसके चेहरे को देखकर समझ गया कि कहीं न कहीं उसने अहाना को ज़रूर देखा है।

रूद्र ने गुस्से से उसका कॉलर पकड़कर कहा –

"बताओ! मुझे यह कहां है?"

वह शख्स हाथ जोड़ते हुए बोला –

"अरे मालिक, हम नहीं जानते यह लड़की कौन है, पर इतना ज़रूर जानते हैं कि वे लोग इसे एक कोठी में लेकर गए हैं। बेचने के खातिर लेकर गए हैं।"

जैसे ही रूद्र ने यह सुना, उसके होश उड़ गए। उसके पैरों तले से ज़मीन खिसक गई। वहीं वह आदमी फिर हाथ जोड़कर बोला –

"मालिक, जल्दी जाओ। लड़की के साथ पता नहीं क्या हो जाए। मैं तो पुलिस स्टेशन जाने वाला था कंप्लेंट करने, पर अब लगता है आपको पहले वहां लेकर जाना चाहिए।"

अनिरुद्ध ने अब उसकी साइकिल साइड में की और बोला –

"चलो, मेरे साथ गाड़ी में बैठो।"

इतना कहते हुए रूद्र जल्दी से गाड़ी की तरफ भागा। उसका दिल इस वक्त जैसे धड़कने से इनकार कर रहा था। बढ़ते पल के साथ उसका मन बेचैन होता जा रहा था… पता नहीं अहाना के साथ वहां क्या हो रहा होगा।

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वहीं दूसरी तरफ,,

स्टार बिल्ड होटल ,,

अहाना की अब आंखें हल्की-हल्की फड़फड़ाने लगी थीं और धीरे-धीरे वह आंखें खोलने लगी। पर जैसे ही उसने सा

मने का नजारा देखा, अहाना की आंखें बड़ी हो गईं और उसकी ज़ोरों से चीख निकल गई।

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To be continued…

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