
Coffee में,,
धानिष्क सौम्या के सामने नील डाउन होकर बैठा था,, और उसने अभी अभी सौम्या से अपने प्यार का इजहार किया था। वहीं सौम्या जब पलटी,, जैसे ही उसने धानिष्क को नीचे ज़मीन पर घुटनो के बल देखा एक पल के लिए उसका दिल धक सा रह गया,, वहीं धानिष्क जो कि सौम्या के सामने सिर झुका कर बैठा था। उसकी आंखो में आंसू थे। जिसे सौम्या ने नही देखा था।
सौम्या एक पल के लिए,, धानिष्क को देखती रह गई। क्युकी उसने इन तीन महीनो में कभी धानिष्क की ये साइड नहीं देखी थी। जब भी सौम्या उससे बात करती थी। तो धानिष्क हमेशा रुड होता था। और हमेशा सौम्या को खुद से दूर ही करता था।
पर अगले ही पल सौम्या के कानो में वहीं बाते गूंजने लगी,, मुझे जीने दो,, मेरी घुटन मत बनो,, वो बात याद आते ही सौम्या ने धानिष्क का हाथ झटक कर expressionless हो कर बोली,, हम अब किसी की घुटन नही बनना चाहते,, और जो अपनी जिंदगी जीना चाहता है। जी सकता है। हमे अब किसी से कोई मतलब नहीं,, और अब हम अब इतनी दूर चले जायेंगे की किसी को हमारे होने से घुटन,, नही होगी,,
इतना कह वो एक बार पलटी,, और अपना एक कदम आगे बढ़ाया ही था। के तभी धानिष्क ने उसका हाथ पकड़ लिया,, और तड़प कर बोला,, अब तुम मुझे छोड़ कर नही जा सकती,, मैं अब तुम्हें कही नही जानें दूंगा,, पहले जब मै तुमसे दूर भाग रहा था। तो तुम्हें मेरे पास आना था। और अब.…...
अभी उसने इतना ही कहा था। के सौम्या,, वांग्य से हँसी और बोली तब मुझे ये नही पता था। की में आपके लिए सर्फ एक घुटन हु। बोझ हु। मैं आपको जीने नही दे रही,, अगर पता होता,, तो कभी अपके इश्क के feetor में इस कदर पगल ना होती,
और Mr dhaanishk kapoor,, आपकी wife आपका वेट कर रही है। क्या सोचेगी जब उसे पता चलेगा की उसका पति किसी और के पीछे घूम रहा है। एक शादी शुदा मर्द को ऐसे किसी के पीछे घूमना शोभा नही देता,,
वहीं धानिष्क अब खीजते हुए,, वो मेरी वाइफ नही है। मैने सर्फ,, तुम्हें दिखाने......
सौम्या फिर उसकी बात काट कर,,, हां समझ गई,,Mr dhaanishk kapoor, की अपने अपनी घुटन को उतरने के लिए ये सब किया,, वहीं अब सौम्या की बात पर धानिष्क जबड़े कसते हुए,, बोला,, मैं मानता हु। मुझसे गलती हो गई,, पर अब मैं तुम्हारे सामने झुकता हु।please sweet marshmellow,,give me one chance,,
इतना कहते हुऐ वे अपनी जगह से खड़ा हुआ,,
तभी सौम्या,, हँसी कैसी बाते करते है।Mr dhaanishk kapoor,,,, एक one night stand के लिए लाई... अभी वो बोल ही रही थी। की धानिष्क का गुस्सा अब हद से बढ़ गया,, और उसने आस पास देखा जहा कई लोग थे। फिर उसने अपनें गुस्सा कंट्रोल किया,, और फिर अपने दांत पीस कर बोला उतना ही बोलो ,,,,
उसकी बात पर अब सौम्या एक बार फिर से कुछ कहने को हुई,, इससे पहले उसके मुंह से कुछ निकलता,, धानिष्क ने अगले ही पल उसे कन्धे पर उठाया और कैफे के बाहर लेकर आया,, वहीं सौम्या अब झटपटाने लगी,, और धानिष्क से छूटने की कोशिश करने लगी,,
वहीं धानिष्क अब उसे बाहर लेकर आया,, और अब तक उसकी कार आ चुकी थी। और धानिष्क की कार के पीछे और भी कई गाड़ियां थी। उन में सब धानिष्क के बॉडीगार्ड थे। वहीं एक बॉडीगार्ड ने कार का फ्रंट डोर खोला,, और अगले ही पल धानिष्क ने सौम्या को कार की फ्रंट पैसेंजर सीट पर पटक कर बैठा दिया,,
और अगले ही पल सौम्या,, के उसपर झुक गया,, वहीं सौम्या का दिल अब धक धक करने लगा,, उसे कुछ कुछ होने लगा था। उसके चहरे पर भाव थोड़े से बदल गए थे। उसके बदलते भाव देख धानिष्क के चेहरे पर डेविल स्माइल आ गई, और अगले ही पल उसने अपनें होंठो को गोल कर सौम्या के चेहरे पर फूंक मारी जिससे एक पल के लिए सौम्या की आंखे एक पल के लिए बंद हो गई, जिसे देख धानिष्क के चेहरे की स्माइल और भी लम्बी हो गई,, वहीं सौम्या एक पल के लिए धानिष्क में फिर से खोने लगी थी। और उसने धीरे से अपनी आंखे खोली,, और जब धानिष्क की स्माइल देख कर सौम्या अपने सेंस में वापिस आई,, और
वो अपने दांत पीस कर बोली ये क्या बदमीजी है। मुझे shekhawat palace जाना है। पीछे हटिए मैं खुद चली जाऊंगी,, इतना कह उसने अपनें हाथों को धानिष्क के सीने पर रखा,, और उसे पीछे की तरफ धकेलने लगी,, पर कहा धानिष्क हटा कटा,, कहा ही उसको सौम्या के मुलायम हाथो से फरक पड़ने वाला था।
और अब उसने सौम्या के दोनो हाथों को पकड़ा और उसके गले से दुपट्टा निकाल कर बांधते हुए बोला,, अभी तो पहले ससुराल चलो,, बात में मायिके चली जाना,, उसकी बात पर सौम्या के दिल एक पल के धड़क उठा,, पर वो खुद को संभालते हुए बोली ये क्या बदतमीजी है। मेरी आपसे शादी नही हुई। समझे आप,, तो कैसा ससुराल,, और अब हम अपके साथ कहीं नही जानें वाले,,
उसकी बात सुन धानिष्क के चेहरे पर एक बेहद दिलकश मुस्कुराहट आ गई। वहीं धानिष्क की स्माइल देख,, सौम्या का दिल मानो सीने से बाहर आने को फ़िर रहा था। आज पहली बार था। जब सौम्या ने धानिष्क की नेचुरल स्माइल देखी थी। वहीं धानिष्क अब उसके कान पास झुक कर उसके कान को चूमते हुए,, बोला,, ये तो ससुराल जा कर पता चल जायेगा कैसा ससुराल,,
मैं तो सोच रहा हु। ससुराल में अब पहले,, सुहाग रात माना ली जाए,, उसकी बात पर सौम्या का दिल धड़कना ही भुल गया,, वहीं धानिष्क ने अब तक उसके हाथ बांध दिए थे। और ऊपर लेजाकर उसके सिर के ऊपर लेजाकर पीछे सीट के हेडरस्ट पर दुपट्टा बांध दिया,, जिससे सौम्या अपने हाथ चला ना सके वहीं सौम्या,, अब दांत पीस कर बोली ये क्या बदतमीजी है।
खोलो मेरे हाथ,,, उसके बात पर धानिष्क उसके गाल को चूम कर बोला,, अब तो ये ससुराल पहुंच कर खुलेंगे बेबी,, उसकी अंदाज को देख सौम्या उसकी और देखती रह गई,,
धानिष्क अब driving सीट पर बैठा,, कुछ आधे घंटे बाद उनकी कार kapoor farmhouse आकर रूकी,, सारे रस्ते सौम्या चिल्लाते आई थी। की अब तुम मुझे बांध लोगे,, और बाद में वो भाग जायेगी,, पर धानिष्क को उसकी बात पर खास ध्यान नहीं दिया,,
अब जब वो farmhouse, पहुंचे तो dhaanishk ने अब उसे कार की बैक seat से दुपट्टा खोला और एक बार फिर से अपने कन्धे पर उठाया,, और अंदर की तरफ लेजाने लगी वहीं,, इलियाना भी वही हाल में थी। उसने जैसे ही,, शानिश्क और सौम्या को देखा तो उसके जबड़े कस गए,, वो मन में ये बच कैसे गई,,
वहीं सौम्या अब धानिष्क के पीठ पर मुक्के मरते हुए,, बोली हम भाई को शिकायत कर दूंगी वो तुम्हें छोड़ेंगे नहीं,, पर धानिष्क को तो जिसे कोई फरक ही नही पड़ रहा था। अब वो सौम्या को रूम में लेकर आया,, और सौम्या को बेड पर पटक दिया,, वहीं सौम्या दांत पीस कर बोली हम भाई को तुम्हारी हरकतों के बारे में....
अभी वो बोल ही रहीं थी। के धानिष्क ने अपने फोन पर AS का नंबर dial कर दिया,, वहीं सौम्या को तो धानिष्क का ये रूप देख,, झटके पर झटके मिल रहे थे। तभी AS ने फोन उठाया,, वहीं धानिष्क AS से बोला,,, तुम्हारी बहन को मेरे खिलाफ शिकायत करनी है। सुन लो,, धानिष्क की बात पर सौम्या के होश उड़ गए,......
To be continue......
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